Home Uncategorized मध्यप्रदेश के मास की महाराष्ट्र में तस्करी

मध्यप्रदेश के मास की महाराष्ट्र में तस्करी

141
0
A chital, or spotted, deer, . ca. 1970-1997

वन विभाग के कार्यवाही में खुलासा

रावनवाडी, (गोदिया) : मध्यप्रदेश के बालाघाट के मुडेशवरा परिसर में हिरन का शिकार कर महाराष्ट्र के सिरपुर, कामठा, पांजरा, बिर्सी परिसर में मास की तस्करी का कार्य गत दो वर्षों से चल रहा था. 24 मई को गुप्त सूचना के आधार पर गोंदिया वन विभाग ने गोदिया तहसील के सिरपुर और कामठा में छापा मार कर हिरन के मास सहित सब्जी बनाने कि सामग्री जब्त किया है.प्राप्त जानकारी अनुसार, मध्यप्रदेश बगडमारा में एक हिरण का शिकार कर वहीं का एक शख्स गोदिया तहसील के सिरपुर के दो शख्स मास कि तस्करी का काम गत दो वर्ष से कर रहा था. 24 मई को वनविभाग को गुप्त सूचना मिली कि सिरपुर में मध्यप्रदेश से हिरन का मास आया है. सिरपुर में छाप मार कार्यवाही में दो लोगों को हिरासत में लिया उस के बाद कामठा के एक ढाबे पर कार्रवाई हुई वह भी मास और सब्जी बनाने कि सामग्री विभाग ने जब्त किया है. सुत्र से मिली जानकारी के अनुसार वनविभाग ने इस संबंध में 6 लोग को हिरासत में लेके जांच शुरू किया है. इस हिरन के मास मामले में बिर्सी बटालियन के भी कुछ लोगों शामिल है, यह चर्चा कामठा परिसर में है. विश्वसनीय सुत्र से मिली जानकारी के अनुसार सिरपुर निवासी ने बिर्सी बटालियन के कुछ जवानो को 200 रूपये किलो से हिरन का मास बेचा और वह मास कामठा के एक ढाबे में बनाया गया है. बाकी शेष मास सिरपुर निवासी के यह तैयार हो रहा था, उसी दौरान विभाग ने दोनों स्थानों पर छापा मार कर कार्यवाही किया है. इस मामले में 6 लोगों को जाच के लिए बुलाया है. एक घर में और ढाबे में हिरन का मास बरामत हुआ है और अभी जांच शुरू होने की जानकारी गोंदिया वन विभाग के आरएफओ दिलीप कौशिक ने दी.जानकारी देने में विभाग कर रहा आनाकानी 24 मई को गोदिया के सिरपुर कामठा में वन्यजीव और वनविभाग ने कार्यवाही किया. लेकिन विभाग इस संबंध में कोई भी जानकारी देने में आनाकानी कर रहा है. एक अधिकारी ने अपना नाम गुप्त रखने कि शर्त पर बताया कि यह कारवाई शुरू है और मध्यप्रदेश का शिकारी गत दो वर्षों से जगली सुअर और हिरन के मास का अवैध कारोबार कर रहा था.